. बिलासपुर। प्रदेश के विभिन्न थर्मल पावर प्लांटों में धुएं और धूल की वजह से मजदूर बीमार पड रहे हैं। मामले में जनहित याचिकाओं और स्वतः संज्ञान लेकर हाईकोर्ट सुनवाई कर रहा है। इसके लिए नियुक्त कोर्ट कमिश्नरों में से कुछ की रिपोर्ट प्रस्तुत नहीं हो सकी है। हाईकोर्ट ने रिपोर्ट देने के लिए समय देते हुए 13 दिसंबर को अगली सुनवाई निर्धारित की है।
प्रदेश भर में संचालित कई प्लांटों में काम करने वाले मजदूर सीमेंट और लोहे की डस्ट से बीमार पड़ रहे हैं। मजदूरों के फेफड़े बुरी तरह प्रभावित हो रहे हैं। इसे लेकर हाईकोर्ट में उत्कल सेवा समिति , लक्ष्मी चौहान , गोविन्द अग्रवाल , अमरनाथ अग्रवाल की जनहित याचिका और कोर्ट के स्व संज्ञान पर सुनवाई चल रही है। हाईकोर्ट ने इस मामले में एडवोकेट प्रतीक शर्मा और पीआर पाटनकर सहित 8 को कोर्ट कमिश्नर नियुक्त किया था। कोर्ट ने इनसे प्रदेश की औद्योगिक इकाइयों में प्रदूषण के कारण हो रही परेशानी के बारे में जानकारी मंगाई थी। इनमें से कुछ कोर्ट कमिश्नर रिपोर्ट प्रस्तुत नहीं कर पाए हैं.
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