बिलासपुर. हाईकोर्ट के नए जज के तौर पर अरविंद कुमार वर्मा की नियुक्ति को अनुच्छेद 224 के खंड (1) के अनुसार राष्ट्रपति ने अनुमोदित कर दिया है। उनको दो वर्ष की अवधि के लिए छत्तीसगढ़ उच्च न्यायालय का अतिरिक्त न्यायाधीश बनाया गया है। यह अवधि उनके द्वारा कार्यभार ग्रहण करने की तिथि से प्रभावी होगी।
अरविंद कुमार वर्मा बेंच कोटे से हैं और हाईकोर्ट में रजिस्ट्रार जनरल थे। उनकी नियुक्ति के साथ ही अब हाईकोर्ट में जजों की संख्या 16 हो जाएगी। हाईकोर्ट में जजों के कुल 22 स्वीकृत पद हैं।
अरविंद वर्मा को जस्टिस बनाने की अनुशंसा 6 अगस्त 2023 को छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस ने अपने दो वरिष्ठ सहयोगियों के साथ मिलकर प्रदेश के राज्यपाल व मुख्यमंत्री के परामर्श से की थी। अपनी अनुशंसा में छत्तीसगढ़ कॉलेजियम ने अरविंद वर्मा को जस्टिस नियुक्ति हेतु पात्र व उनके फैसला देने की गुणवत्ता को उत्तम प्रकृति का बताया था।
अरविंद वर्मा उच्चतर न्यायिक सेवा से आते हैं। उन्होंने अपनी नौकरी की शुरुआत सिविल जज से की। उनका होम डिस्ट्रिक्ट अंबिकापुर है। उनका जन्म 8 अप्रैल 1964 को हुआ था। उन्होंने एमएससी के बाद एलएलबी की डिग्री हासिल की और 24 मई 1994 को न्यायिक सेवा में आए। उनकी पहली पोस्टिंग अंबिकापुर में ही हुई थी। फिर राजनांदगांव में सिविल जज क्लास 2 बने। राजनांदगांव के बाद जांजगीर में सिविल जज क्लास 2 और घरघोड़ा में सिविल जज क्लास 2 बने। घरघोड़ा में रहते ही 2002 में उनका क्लास वन में प्रमोशन हुआ। राजनांदगांव में मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी रहे। रायपुर में 2005 से 2009 तक एडीजे रहे और फस्ट्रैक कोर्ट में रहे। वह जगदलपुर में भी एडीजे रहे हैं।