बिलासपुर। जिला खनिज न्यास (डीएमएफ) में कोरबा जिले में करीब 1200 करोड़ के घोटाले पर हाईकोर्ट में जनहित याचिका दायर की गई है। सुनवाई के दौरान हाईकोर्ट ने राज्य शासन को जवाब के लिए 2 सप्ताह का अंतिम अवसर दिया है।
उल्लेखनीय है कि डीएमएफ के तहत पूरे प्रदेश के तमाम जिलों में कुल मिलाकर दस हजार करोड़ के आसपास की राशि की गड़बड़ी सामने आई थी। कोरबा जिले में ही करीब 1200 करोड़ रुपए तक की गड़बड़ी के आरोप लगे। इसे लेकर कोरबा निवासी सामाजिक कार्यकर्ता संतोष कुमार राठौर व 4 अन्य लोगों ने अधिवक्ता संजय कुमार अग्रवाल के माध्यम से हाईकोर्ट में जनहित याचिका दायर की। इसमें बताया गया कि, खनिज न्यास के कार्यों में नियमों का उल्लंघन किया गया है और बड़े पैमाने पर भ्रष्टाचार हुआ है। डीएमएफटी रूल्स 2015 के नियम 25 (3) 12 (3) 12 (6 )12 (2) की अवहेलना की गई है। न्यास में लम्बे समय से टीडीएस नहीं काटा जा रहा है। आडिटर जनरल से वार्षिक ऑडिटिंग भी नहीं कराई जा रही है। खनिज न्यास से हो रही आय की राशि का सही उपयोग नहीं करने और इसका कहीं कोई हिसाब नहीं रखने के आरोप भी लगे। इन सब मुद्दों को याचिका में उठाते हुए मामले की सीबीआई जांच की मांग भी की गई। गुरुवार को चीफ जस्टिस की डीबी में सुनवाई हुई। केंद्र और सीबीआई ने इस पर अपना जवाब पूर्व में प्रस्तुत किया था। जबकि राज्य शासन की ओर से आज भी जवाब नहीं दिया गया। इस पर हाईकोर्ट ने अंतिम अवसर देते हुए 2 सप्ताह का समय राज्य शासन को दिया है। अगली सुनवाई मार्च के दूसरे सप्ताह में होगी।