Bilaspur. भाजपा सरकार को कांग्रेसी अधिकारीयों से सतर्क रहने का बेहद जरूरत है.बता दें कि पूर्व राजस्व मंत्री जयसिंह अग्रवाल के बेहद ख़ास दो तहसीलदारो और एक डिप्टीकलेक्टर ने पांच साल पूर्व मंत्री के सानिध्य में जमकर मलाई खाया. जी भरकर ज़मीनों का फर्जीवाड़ा किया...
लेकिन विधानसभा चुनाव के बाद इनके सोच के विपरीत सरकार बदल गयी और भाजपा आ गयी. अब इनके सपने धराशायी होने लगे. अब इन्होने नया पेंतरा अपनाया है.. भाजपा के कुछ नेताओं को सेट करने में पूरी ताकत झोंक रहे हैँ ताकि पुराना पांच साल इनका फिर वापस आ सके.
ये पूर्व मंत्री के करीबी अधिकारी जनता की नजरों में विलेन है. ये किसी का काम नहीं करते. गरीबों का चप्पल घिस जाता है. ये केवल भ्र्ष्टाचार वाले काम को करते हैँ. ये केवल बड़े बिल्डरों का बस काम करते हैँ. आम आदमी और वकीलों से मिलना तो दूर उनका फोन तक नहीं उठाते. ये खुद को राष्ट्रपति से बड़े पद वाला समझते हैँ. सरकार ने इनको जनता की सेवा के लिए तैनात किया है. इनको वेतन भी इसी बात का मिलता है. लेकिन ये सरकारी पैसे में अपना और अपने आका का सेवा करते हैँ. इन्होने कांग्रेस सरकार को बदनाम करने में कोई कसर नहीं छोड़ा है. अब ये यही काम भाजपा सरकार में करना चाहते हैँ.सोचने वाली बात यह है कि क्या सरकार ऐसे अधिकारीयों को तावज्जो देगी या लोकसभा के बाद ऐसे अधिकारियो को सुधारेगी.