copyright

बलौदाबाजार हिंसा पर बवाल अभी थमा भी नहीं कि छत्तीसगढ़ में एक और प्रकरण, पत्रकार पर हुआ कातिलाना हमला, खरसिया विधायक ने अस्पताल पहुंचकर सत्यजीत घोष का जाना हालचाल

 



रायगढ़. प्रदेश के विष्णु देव साय सरकार के लिए यह सप्ताह चुनौतियों से भरा रहा जहां बलौदाबाजार में आगजनी जैसे मामले हुए शासकीय कार्यालय को आग के हवाले कर दिया गया कलेक्टर को जहाँ धारा 144 लगानी पड़ी यह मामला अभी शांत नहीं हुआ कि पत्रकार सत्यजीत घोष पर हुए कातिलाना हमले के मामले ने अब तूल पकड़ लिया है। जिले से निकलकर प्रदेश स्तर पर जाते दिख रहा है जिले के साथ ही साथ प्रदेश स्तर के पत्रकारों में सत्यजीत घोष पर हुए कातिलाना हमला को लेकर काफी रोष है कई सगठन ने कड़े शब्दों में निदा किया है


वही शाम होते होते खरसिया विधायक एवं पूर्व मत्री उमेश पटेल ने जिला चिकित्सालय पहुंचकर जख्मी सत्यजीत का हालचाल जानने पहुँच हुए थे घटना की कड़े शब्दों में निंदा करते हुए कहा कि छत्तीसगढ़ में कानून व्यवस्था की बखियां उधड़ना बेहद चिंताजनक विषय है। विष्णु देव साय की सरकार में कानून व्यवस्था की दिन प्रतिदिन धजिया उड़ाई जा रही है



देश के चौथे स्तंभ पर हमला घोर निंदनीय

पूर्व मंत्री उमेश पटेल ने यह भी कहा कि लोकतंत्र के चौथे स्तंभ के सजग प्रहरी ही जब सुरक्षित नहीं हैं तो आम जनता का तो भगवान ही मालिक है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस जब छत्तीसगढ़ की बागडोर सम्हाल रही थी तो कम से कम पब्लिक चैन की सांसें लेते हुए जानमाल की सुरक्षा के लिए फिक्रमंद और दहशतजदा नहीं थी, लेकिन भाजपा के सत्ता में आते ही बलौदाबाजार जैसे कांड ने असलियत जाहिर कर दी है कि हालात अब किस तरह के बन रहे हैं।


निष्पक्ष जांच की मांग

विधायक उमेश पटेल ने सत्यजीत घोष पर हुए जानलेवा हमले की पूरी हकीकत को सामने लाने के लिए पुलिस प्रशासन से निष्पक्ष जांच की मांग करते हुए पत्रकारों के हर सुख-दुख में साथ देने की बात भी कही। इस दौरान प्रेस क्लब अध्यक्ष हेमंत थवाईत एवं सचिव नवीन शर्मा, दिलीप पांडेय, अनिल शुक्ला, जयंत ठेठवार, शाखा यादव, राकेश पाण्डेय, राजेंद्र शुक्ला, सौरभ अग्रवाल, आरिफ हुसैन, सलीम नियारियां, जानकी काटजू, अनिल अग्रवाल, संदीप अग्रवाल, राजेश भारद्वाज, बिज्जू ठाकुर, विकास ठेठवार, आशीष चौबे, अजीत सिंह राज, तारा श्रीवास, सपना सिदार समेत कांग्रेस के कई नेता एवं पत्रकारगण मौजूद रहे।


क्या कहा प्रकार सत्यजीत घोष ने

वहीं, सत्यजीत घोष का कहना है कि उन्होंने पुलिस को दिए अपने बयान में जिन लोगों का जिक्र किया है, खाकी वर्दीधारी उनके खिलाफ कोई कानूनी कार्रवाई नहीं कर रहे हैं जो गलत है। वहीं, इस मामले में पुलिस ने जिन दो युवकों को पकड़ा है, उनको न मैं जानता हूं और न ही पहचानता हूं। फिर पुरानी रंजिश की कहानी कहां से आई। पुलिस निष्पक्ष जांच करते हुए असल मुल्जिमों के गिरेबां में हाथ डाले ताकि मुझे इंसाफ मिल सके।

Post a Comment

0 Comments
* Please Don't Spam Here. All the Comments are Reviewed by Admin.