बिलासपुर। दुर्ग- भिलाई विधायक देवेंद्र यादव को कोर्ट के आदेश की अवहेलना पर हाईकोर्ट ने फटकार लगाई है। कोर्ट ने इसके लिए उन पर 1000 रुपये जुर्माना लगाया है। कोर्ट ने पाया कि विधायक जेल में रहते हुए भी सोशल मीडिया पर सक्रिय हैं। मीडिया को बाइट भी दे रहे हैं, कोर्ट में अपने वकील के माध्यम से जवाब प्रस्तुत कराने के लिए उनके पास समय नहीं है।
हाईकोर्ट की सिंगल बेंच में विधायक देवेंद्र यादव के विरुद्ध भाजपा प्रत्याशी प्रेमप्रकाश पांडे की चुनाव याचिका पर गुरुवार को सुनवाई चल रही थी। उनके अधिवक्ता ने 21 अगस्त को 3 अंतरिम आवेदन लगाए थे। इस पर कोर्ट ने लगातार तीन अवसर देवेंद्र यादव के अधिवक्ता को जवाब प्रस्तुत करने के लिए दिया। उनके अधिवक्ता ने यह तर्क देते हुए जवाब जमा नहीं किया कि देवेंद्र यादव जेल में बंद हैं, इसलिए हम जवाब प्रस्तुत नहीं कर सकते। हमें देवेंद्र से निर्देश प्राप्त नहीं हो पा रहे हैं।आज भी यही तर्क प्रस्तुत किया गया। इसका विरोध करते हुए प्रेम प्रकाश पांडेय के वकील वरिष्ठ अधिवक्ता डॉ एनके शुक्ला एवं देवाशीष तिवारी ने कोर्ट को बताया तथा दिखाया कि देवेंद्र यादव जेल से पेशी के दौरान ट्विटर,फेसबुक,सोशल मीडिया में संदेश चला अथवा चलवा रहे है। न्यूज चैनल को बलरामपुर की घटना पर बाइट दे रहे हैं। बस अपने अधिवक्ता को चुनाव याचिका पर निर्देश नहीं दे पा रहे
कोर्ट ने वरिष्ठ अधिवक्ता के तर्कों से सहमत होकर कड़ा रुख अपनाते हुए आदेश दिया कि देवेंद्र यादव की ओर से तीन बार से जवाब नहीं आ रहा है। अब यह अंतिम मौका दिया जाता है कि 20 नवंबर तक आवश्यक रूप से जवाब जमा करें। कोर्ट ने जवाब में देर के लिए यादव पर 1000 रुपए की पेनल्टी भी लगाई है। मामले में अगली सुनवाई 20 नवंबर को होगी ।